तीन अभियन्ता 50 हजार की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार
कमीशन के रूप में ली रिश्वत, तीन में एक सेवानिवृत अभियन्ता भी शामिल
बीकानेर। भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो की टीम ने बुधवार को इंदिरा गांधी नहर परियोजना के 16वां खण्ड कार्यालय में बिल भुगतान की एवज में 50 हजार रूपय रिश्वत लेते तीन अभियन्ताओं को रंगे हाथो धर दबोचा। इनमें एक सेवा निवृत अभियन्ता भी शामिल है। एसीबी की अचानक हुई कार्यवाही से कार्यालय में एक बारगी हडकम्प सा मच गया। एसीबी के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक रवि दत गौड ने बताया कि परिवादी पूरबाराम ने शिकायत दर्ज करवाई कि उसकी कंस्ट्रक्शन कम्पनी के भुगतान की एवज में उससे रिश्वत की मांग की जा रही है। ब्यूरों ने शिकायत का सत्यापन करने के बाद जाल बिछाया व 50 हजार रिश्वत राशि के साथ 16वां खण्ड के अधिशाषी अभियन्ता अजित कुमार वर्मा, सहायक अभियंता जयदेव गोयल व सेवानिवृत कनिष्ठ अभियन्ता भगवती प्रसाद मुद्गल को रिश्वत की राशि के साथ धर दबोचा। गौड के अनुसार अभियन्ता वर्मा व गोयल ने पूरबाराम को रिश्वत की राशि सेवानिवृत कनिष्ठ अभियन्ता मुद्गल को देने के लिए कहा। ब्यूरों की टीम ने मुद्गल से रिश्वत की राशि जब्त की। जानकारी के अनुसार वर्मा व गोयल के साथ पकडा गया भगवती प्रसाद कनिष्ठ अभियन्ता मुद्गल 30 जून को ही सेवानिवृत हुआ है। एसीबी की टीम ने वर्तमान में कार्यरत अभियन्ताओं वर्मा व गोयल के घर तलाशी लेकर सम्पतियों की जानकारी जुटाई व मामला दर्ज किया। ठेकेदार पूरबाराम के अनुसार उसकी कंष्ट्रक्शन कम्पनी पी आर काकड के दो बिलों का भुगतान साढे सोलह लाख दिसम्बर माह से अटका पडा था। इन बिलों का भुगतान करने की एवज में उससे एक लाख रूपयो की रिश्वत की मांग की गई ब्यूरों में शिकायत दर्ज करवाने के बाद ब्यूरों की टीम ने तीनों अभियंताओं को 50 हजार की रिश्वत राशि के साथ उनको धर दबोचा।